केंद्रीय कर्मचारियों के लिए एक बार फिर 8th Pay Commission (आठवां वेतन आयोग) चर्चा में है। लाखों कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को उम्मीद थी कि केंद्र सरकार जल्द इसकी घोषणा कर सकती है, लेकिन अब संकेत मिल रहे हैं कि इसमें 3 साल तक की देरी संभव है। जानकारों के मुताबिक, सरकार फिलहाल 7वें वेतन आयोग की सिफारिशों को 2026 तक जारी रखने पर विचार कर रही है, जिससे कर्मचारियों को अगली वेतन वृद्धि के लिए थोड़ा और इंतजार करना पड़ सकता है।
क्यों हो रही है देरी?
8वें वेतन आयोग में देरी की तीन मुख्य वजहें बताई जा रही हैं:
आर्थिक दबाव: सरकार इस समय बुनियादी ढांचा, रक्षा और सामाजिक कल्याण योजनाओं में बड़े पैमाने पर निवेश कर रही है। ऐसे में वेतन आयोग लागू करने से केंद्रीय खजाने पर भारी बोझ बढ़ सकता है।
नई वेतन प्रणाली पर विचार: वित्त मंत्रालय और DoPT (Department of Personnel and Training) के अधिकारियों का मानना है कि अगली बार Pay Matrix के बजाय Performance-Based Pay System लागू किया जा सकता है, जिस पर नीति आयोग काम कर रहा है।
लोकसभा चुनाव व राजकोषीय अनुशासन: 2026 के आम चुनावों को देखते हुए सरकार राजकोषीय घाटे को नियंत्रित रखना चाहती है, इसलिए जल्दबाज़ी में किसी बड़े वित्तीय निर्णय की संभावना कम है।
कर्मचारियों की उम्मीदें
केंद्रीय कर्मचारियों का कहना है कि 7वें वेतन आयोग को लागू हुए अब करीब 10 साल पूरे हो चुके हैं, और महंगाई दर में बढ़ोतरी के कारण वेतन पुनरीक्षण की सख्त जरूरत है।वर्तमान में DA (Dearness Allowance) में नियमित बढ़ोतरी हो रही है, लेकिन कर्मचारियों का मानना है कि नया आयोग लागू होने से बेसिक पे और पेंशन दोनों में सुधार होगा।
क्या कहती है रिपोर्ट?
आर्थिक विश्लेषकों के अनुसार, अगर 8th Pay Commission की घोषणा होती है तो 2027-28 से इसका प्रभाव लागू हो सकता है। इससे लगभग 48 लाख केंद्रीय कर्मचारी और 68 लाख पेंशनभोगी सीधे लाभान्वित होंगे।
कितना बढ़ सकता है वेतन?
वेतन आयोग के पिछले ट्रेंड्स के अनुसार, 8वें वेतन आयोग के लागू होने पर बेसिक सैलरी में 20–30% तक की वृद्धि संभव है। इसके साथ ही House Rent Allowance (HRA) और Travel Allowance (TA) में भी बढ़ोतरी की उम्मीद है।
सरकार की स्थिति
वित्त मंत्रालय की ओर से अब तक कोई आधिकारिक घोषणा नहीं की गई है। हालांकि सूत्रों का कहना है कि सरकार 2026 में Pay Revision Review Committee गठित कर सकती है, जो आगे जाकर 8th Pay Commission का रूप ले सकती है।








