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Saturday, November 15, 2025

ChatGPT पर विवाद: फांसी लगाने का तरीका बताने का आरोप, कंपनी के खिलाफ दायर हुए 7 मुकदमे

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दुनिया की मशहूर एआई कंपनी OpenAI एक नए विवाद में फंस गई है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, उसके चैटबॉट ChatGPT पर यह आरोप लगाया गया है कि उसने कुछ यूजर्स को संवेदनशील और खतरनाक जानकारी साझा की। इसी को लेकर अमेरिका में सात मुकदमे दायर किए गए हैं।

क्या है पूरा मामला?

जानकारी के अनुसार, कुछ यूजर्स ने दावा किया कि ChatGPT ने आत्म-हानि से जुड़ी जानकारी साझा की, जिसे कंपनी की सुरक्षा नीतियों का उल्लंघन माना जा रहा है। कई परिवारों ने यह आरोप लगाया है कि AI मॉडल ने “मानव सुरक्षा की सीमाओं” का पालन नहीं किया, जिससे गंभीर नतीजे सामने आए।

कंपनी की सफाई

OpenAI ने इन सभी आरोपों को खारिज करते हुए कहा है कि उनके मॉडल में कड़े सुरक्षा फिल्टर हैं जो किसी भी यूजर को नुकसान पहुँचाने वाली जानकारी देने से रोकते हैं।

कंपनी ने बयान जारी कर कहा — “हम लगातार अपने सिस्टम को बेहतर बना रहे हैं ताकि यह जिम्मेदारी से इस्तेमाल हो। हमारा उद्देश्य केवल मदद और जानकारी देना है, न कि किसी तरह की हानि पहुँचाना।”

AI सुरक्षा पर उठे सवाल

यह घटना एक बार फिर से आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की नैतिकता और नियंत्रण पर बहस को तेज कर रही है। टेक विशेषज्ञों का कहना है कि अब समय आ गया है जब सरकारों और कंपनियों को मिलकर AI के लिए सख्त गाइडलाइन्स और मॉनिटरिंग सिस्टम बनाना चाहिए।

7 मुकदमों का क्या है आरोप?

  • कंपनी की लापरवाही से संवेदनशील जानकारी साझा हुई।
  • यूजर सेफ्टी और डेटा प्रोटेक्शन में चूक हुई।
  • चैटबॉट में पर्याप्त कंटेंट फिल्टरिंग मैकेनिज्म नहीं था।
  • मानसिक स्वास्थ्य से जुड़े मामलों में गलत प्रतिक्रिया दी गई।

AI Regulation की जरूरत क्यों?

AI अब जीवन के हर क्षेत्र में इस्तेमाल हो रहा है — शिक्षा, हेल्थ, बैंकिंग, जॉब्स और पर्सनल असिस्टेंट तक। लेकिन अगर इसे नियंत्रित न किया गया तो ऐसी घटनाएं मानव सुरक्षा के लिए खतरा बन सकती हैं। इसी वजह से अमेरिका, यूरोप और भारत जैसे देशों में AI नियम और डेटा प्राइवेसी कानून पर तेजी से काम हो रहा है।

Disclaimer

ChatGPT पर लगे ये मुकदमे सिर्फ एक कंपनी का मामला नहीं हैं, बल्कि यह सवाल हैं कि क्या AI सिस्टम इंसानों के लिए पूरी तरह सुरक्षित हैं? इस घटना के बाद उम्मीद है कि OpenAI और अन्य कंपनियां यूजर सेफ्टी, मॉनिटरिंग और एथिकल कोड्स पर और ज्यादा ध्यान देंगी।

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