देशभर के कपास किसानों के लिए इस सीजन की शुरुआत मुश्किलों भरी साबित हो रही है। बाजार में कपास का भाव न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) से नीचे चल रहा है, जिसके कारण किसानों की आर्थिक स्थिति कमजोर होती जा रही है। केंद्र सरकार ने आयात पर कस्टम ड्यूटी हटाकर राहत देने की कोशिश की थी, लेकिन इसके बाद भी घरेलू बाजार में कीमतों में सुधार देखने को नहीं मिला।
किसानों का कहना है कि उत्पादन लागत बढ़ने के बावजूद कपास की बिक्री कीमत लगातार गिर रही है, जिससे उन्हें भारी नुकसान झेलना पड़ रहा है। वहीं व्यापारियों का मानना है कि वैश्विक बाजार में मंदी और मांग में कमी के कारण कीमतों पर दबाव बना हुआ है। किसानों ने सरकार से तत्काल हस्तक्षेप कर उचित दाम सुनिश्चित करने और खरीद बढ़ाने की मांग की है, ताकि उनकी मेहनत का उचित मूल्य मिल सके।








