अमेरिका द्वारा वीजा नियमों को कड़ा किए जाने के विषय पर विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने स्पष्ट किया कि वीजा जारी करना किसी भी सरकार का संप्रभु अधिकार होता है और हर देश अपनी नीतियों एवं सुरक्षा मानकों के अनुसार ऐसे निर्णय लेता है। उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय यात्राएं बढ़ने, सुरक्षा चुनौतियों में बदलाव और आव्रजन से जुड़े मामलों को देखते हुए विभिन्न देश समय-समय पर अपनी वीजा नीतियों में संशोधन करते रहते हैं।
जयशंकर ने बताया कि भारत सरकार इस मुद्दे पर अमेरिकी प्रशासन के साथ लगातार संवाद बनाए हुए है, ताकि भारतीय नागरिकों और पेशेवरों को किसी प्रकार की अनावश्यक कठिनाई का सामना न करना पड़े। उन्होंने यह भी कहा कि दोनों देशों के बीच आर्थिक, शैक्षिक और तकनीकी सहयोग काफी मजबूत है और वीजा संबंधी प्रक्रियाओं में पारदर्शिता और सुगमता सुनिश्चित करना दोनों पक्षों के हित में है।
विदेश मंत्री ने भरोसा दिलाया कि भारतीय नागरिकों की चिंताओं को उच्च स्तर पर उठाया जा रहा है और सरकार सभी आवश्यक कदम उठा रही है, ताकि भारतीय छात्रों, आईटी पेशेवरों और कारोबारियों की आवाजाही में किसी तरह की रुकावट न आए। उन्होंने यह भी दोहराया कि भारत-अमेरिका संबंध बहुआयामी हैं और ऐसे मुद्दों को सहयोग एवं संवाद से सुलझाया जाता है।
जयशंकर के इस बयान को उन लोगों के लिए महत्वपूर्ण माना जा रहा है जो अमेरिका में पढ़ाई, नौकरी या व्यापार के उद्देश्य से जाना चाहते हैं और नए नियमों के बाद असमंजस की स्थिति में थे।








