कहते हैं मेहनत और हिम्मत हो तो किस्मत खुद रास्ता बना देती है। ऐसा ही कर दिखाया है प्रेम वत्सल (काल्पनिक नाम) जैसे भारतीय मूल के उस उद्यमी ने, जिसने मात्र 8 डॉलर से अपनी जिंदगी की शुरुआत की थी और आज $100 अरब की कंपनी के मालिक बन चुके हैं। 75 साल की उम्र में भी उनका जोश कम नहीं हुआ है, बल्कि वे अब कनाडा के सबसे अमीर भारतीय बन चुके हैं।
भारत के एक छोटे शहर से कनाडा पहुंचे इस व्यक्ति ने शुरुआती दिनों में छोटे-छोटे काम किए। कभी गैस स्टेशन पर नौकरी की, तो कभी रेस्तरां में बर्तन धोए। लेकिन उनका सपना बड़ा था — अपनी खुद की कंपनी खड़ी करना। उन्होंने 1980 के दशक में एक छोटी रियल एस्टेट कंपनी शुरू की, जिसने धीरे-धीरे कनाडा के इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टर में बड़ा नाम कमा लिया।
आज उनकी कंपनी “Vatsal Group of Companies” (उदाहरणार्थ) रियल एस्टेट, माइनिंग, एनर्जी और फाइनेंस जैसे कई सेक्टर में कारोबार कर रही है। कंपनी का मार्केट वैल्यू $100 अरब (लगभग ₹8.3 लाख करोड़) से ज्यादा हो चुका है।
सफलता का मंत्र:
वे कहते हैं, “मैंने कभी पैसा कमाने के लिए काम नहीं किया, बल्कि कुछ नया करने की सोच रखी। जब आप समाज के लिए कुछ बड़ा सोचते हैं, तो सफलता खुद चलकर आती है।” कनाडा की फोर्ब्स लिस्ट के अनुसार, वे अब देश के शीर्ष 10 अमीरों में शामिल हैं और सबसे अमीर भारतीय मूल के बिजनेसमैन हैं।








