बैंकों और एनबीएफसी के जरिए गोल्ड लोन सालाना 8.45% की दर से बढ़ रहे हैं. इक्रा ने चालू वित्त वर्ष 2024-25 में 10 लाख करोड़ रुपये के गोल्ड लोन वितरित किए जाने का अनुमान लगाया है. क्रेडिट रेटिंग एजेंसी ने अगले तीन साल में इसके 15 लाख करोड़ रुपये तक पहुंचने का अनुमान लगाया है.
इक्रा के फाइनेंशियल सेक्टर रेटिंग्स के को-ग्रुप हेड एएम कार्तिक ने कहा, ‘रिजर्व बैंक ने पर्सनल लोन जैसे असुरक्षित लोन के लिए नियम सख्त कर दिए हैं. इस बीच, सोने की बढ़ती कीमतों के कारण 2023-24 में गोल्ड लोन लेने का चलन बढ़ रहा है. अगले वित्त वर्ष यानी 2024-25 में इसमें तेजी आने की उम्मीद है.’
इकरा की रिपोर्ट के मुताबिक, 2023-24 में गोल्ड लोन मार्केट में टॉप-4 कंपनियों का दबदबा 83% रहा. संगठित गोल्ड लोन बाजार में 2019-20 से 2023-24 के बीच सालाना 25% की वृद्धि हुई है.
इस दौरान बैंकों की गोल्ड लोन बुक में 26% और NBFC की गोल्ड लोन बुक में 18% की वृद्धि हुई है. इसी अवधि में बैंकों से आभूषण गिरवी रखकर लिए गए कृषि ऋण में 26% और खुदरा गोल्ड लोन में 32% की वृद्धि हुई है.
आम तौर पर आपको लोन चुकाने के लिए 3 से 2 साल का समय मिलता है. लेकिन यह बैंक और NBFC पर निर्भर करता है. जैसे HDFC बैंक 3 महीने से लेकर दो साल तक का लोन देता है. SBI तीन साल तक के लिए देता है. मुथूट और मण्णापुरम लंबी अवधि के लिए लोन देते हैं.
एक लाख के सोने पर आपको अधिकतम 90 हजार रुपये का लोन मिलेगा. SBI 50 लाख रुपये तक का गोल्ड लोन देता है. साथ ही, वे 1500 रुपये का लोन भी देते हैं. चूंकि ये कंपनियां सिर्फ़ गोल्ड लोन देती हैं, इसलिए कोई अधिकतम सीमा नहीं है.
SBI की वेबसाइट के मुताबिक, आपको पैन कार्ड, आधार और 2 पासपोर्ट साइज़ कॉपी देनी होंगी. इसके अलावा, आपको पते का प्रमाण भी देना होगा.
गोल्ड लोन एक तरह का सिक्योर्ड लोन है. इसलिए इसमें आपका क्रेडिट स्कोर मायने नहीं रखता. यह लोन आपको आसानी से और पर्सनल लोन से कम ब्याज दर पर मिल जाता है.