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तिरुपति लड्डू विवाद, आंध्र डिप्टी CM बोले-भगवान से क्षमा मांगी:उपवास रख रहा; हिंदू चुप नहीं बैठेगा, मस्जिद-चर्च में ऐसा होता तो देश भड़क उठता

आंध्र प्रदेश के श्री वेंकटेश्वर स्वामी मंदिर (तिरुपति मंदिर) में प्रसादम (लड्डूओं) में जानवरों की चर्बी मामले में आंध्र प्रदेश के डिप्टी CM पवन कल्याण ने कहा- जब हिंदू मंदिरों को अपवित्र किया जाता है तो हमें चुप नहीं रहना चाहिए। अगर ऐसा मस्जिदों या चर्चों में होता तो देश में गुस्सा भड़क उठता।

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पवन कल्याण ने रविवार (22 सितंबर) से 11 दिनों की प्रायश्चित दीक्षा की शुरुआत की। इस दौरान वह उपवास करेंगे। पवन ने कहा, मुझे अफसोस है कि मैं मिलावट के बारे में पहले क्यों नहीं पता लगा पाया। मुझे दुख हो रहा है। इसके लिए प्रायश्चित करूंगा।

पवन कल्याण ने सोशल मीडिया X पर लिखा, ‘पवित्र माने जाने वाले तिरुमाला लड्डू प्रसादम को जगन रेड्डी की सरकार की भ्रष्ट नीतियों के कारण अपवित्र कर दिया गया है। इस पाप को शुरू में न पहचान पाना हिंदू जाति पर एक कलंक है।

जिस पल मुझे पता चला कि लड्डू प्रसादम में जानवरों की चर्बी हैं, मैं हैरान रह गया। खुद को दोषी महसूस कर रहा हूं। चूंकि मैं लोगों के कल्याण के लिए लड़ रहा हूं, इसलिए मुझे दुख है कि मैं इसे पहचान क्यों नहीं पाया।’

आंध्र के पूर्व CM जगन मोहन रेड्डी ने प्रधानमंत्री मोदी को लेटर लिखकर प्रसादम विवाद पर नायडू से जवाब मांगने का अनुरोध किया है। रेड्डी ने लेटर में लिखा, CM चंद्रबाबू नायडू की तरफ से तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम की पवित्रता, अखंडता और प्रतिष्ठा को कलंकित करने का प्रयास किया जा रहा है। चंद्रबाबू नायडू एक असाध्य और आदतन झूठ बोलने वाले व्यक्ति हैं और वे इस हद तक गिर गए हैं कि उन्होंने केवल राजनीतिक उद्देश्यों के लिए करोड़ों लोगों की आस्था को ठेस पहुंचाई है। जो झूठ फैलाया गया उसकी सच्चाई को सामने लाया जाए। इससे करोड़ों हिंदू भक्तों के मन में पैदा किए गए संदेह दूर होंगे और  की पवित्रता में विश्वास बहाल होगा।

 आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी और अन्य के खिलाफ केस दर्ज किया गया है। उन पर श्री वेंकटेश्वर स्वामी मंदिर की पवित्रता को नुकसान पहुंचाने और प्रसिद्ध तिरुपति लड्डू प्रसादम में इस्तेमाल किए जाने वाले घी में मिलावट के आरोपों के बाद हिंदू धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने का आरोप लगाया गया है। हैदराबाद के सैदाबाद पुलिस स्टेशन में एक वकील ने यह शिकायत दर्ज कराई है।

तिरुपति मंदिर में लड्डू बनाने के लिए अब नंदिनी घी का इस्तेमाल किया जा रहा है। नंदिनी, कर्नाटक मिल्क फेडरेशन का लोकप्रिय ब्रांड है। विवाद के बीच एक महीने पहले ही तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम ने कर्नाटक मिल्क फेडरेशन को घी सप्लाई करने का कॉन्ट्रैक्ट दिया।

कर्नाटक मिल्क फेडरेशन के मैनेजिंग डायरेक्टर एमके जगदीश ने कहा, हमने अपनी गाड़ियों में जीपीएस सिस्टम और जियो लोकेशन डिवाइस लगाई हैं। ये गाड़ियां मंदिर में घी सप्लाई करती हैं।  सिस्टम लगाने से हमें पता चलता है कि गाड़ी कहां-कहां रुकी है, ताकि मिलावट को रोका जा सके। कर्नाटक मिल्क फेडरेशन को 350 टन घी की सप्लाई का ठेका मिला है।

: हिंदू सेना समिति के अध्यक्ष सुरजीत सिंह यादव ने तिरुपति प्रसादम में जानवरों की चर्बी के आरोपों की जांच के लिए SIT जांच की मांग की है। सुरजीत सिंह ने 21 सितंबर को सुप्रीम कोर्ट में एक जनहित याचिका लगाई है। इसके अलावा वकील सत्यम सिंह ने भी सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगाते हुए कहा, प्रसाद में मिलावट हिंदू धार्मिक रीति-रिवाजों के मूल सिद्धांतों का उल्लंघन है। इस पर कोर्ट को तुरंत संज्ञान लेना चाहिए।

 कांग्रेस पार्टी ने लड्डू में चर्बी विवाद पर आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट का रुख किया। जगन रेड्डी की पार्टी ने इस मामले में मौजूदा जज की निगरानी में जांच का अनुरोध किया है। मामले में अगली सुनवाई 25 सितंबर को होगी।

 स्वास्थ्य मंत्रालय ने आंध्र प्रदेश सरकार से रिपोर्ट मांगी है। स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने कहा- मैंने CM चंद्रबाबू नायडू से बात की है। मंदिर के प्रसाद (लड्डू) की जांच कराई जाएगी।

, कांग्रेस और भाजपा ने इस मामले में जांच की मांग की है। हालांकि केंद्र सरकार ने अभी यह केस जांच एजेंसी को नहीं सौंपा है।

 लड्डू विवाद पर सोमवार को विश्व हिंदू परिषद बैठक करेगा। इसमें दक्षिणी राज्यों के हिंदू शामिल होंगे। बैठक में मंदिरों को सरकारी नियंत्रण से बाहर किए जाने का मुद्दा रखा जाएगा। साथ ही धर्मपरिवर्तन पर भी चर्चा होगी।

 कर्नाटक कोऑपरेटिव मिल्क फेडरेशन पिछले 50 साल से रियायती दरों पर ट्रस्ट को घी दे रहा था। तिरुपति मंदिर में हर छह महीने में 1400 टन घी लगता है। जुलाई 2023 में कंपनी ने कम रेट में सप्लाई देने से मना कर दिया, जिसके बाद जगन सरकार  ने 5 फर्म को सप्लाई का काम दिया था। इनमें से एक तमिलनाडु के डिंडीगुल स्थित एआर डेयरी फूड्स भी है। इसके प्रोडक्ट में इसी साल जुलाई में गड़बड़ी मिली थी।

 सरकार ने जून 2024 में सीनियर  अधिकारी जे श्यामला राव को तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम (TTD) का नया एक्जीक्यूटिव ऑफिसर अपॉइंट किया था।

उन्होंने प्रसादम (लड्डू) की क्वॉलिटी जांच का आदेश दिया। इसके लिए एक कमेटी बनाई। प्रसाद के टेस्ट और क्वॉलिटी को बेहतर बनाने के लिए कमेटी ने कई सुझाव दिए। साथ ही घी की जांच के लिए नेशनल डेयरी डेवलपमेंट बोर्ड , गुजरात में सैंपल भेजे। जुलाई में सामने आई रिपोर्ट में फैट का जिक्र था।

इसके बाद  ने तमिलनाडु के डिंडीगुल स्थित एआर डेयरी फूड्स की तरफ से भेजे गए घी के स्टॉक को वापस कर दिया और ठेकेदार को ब्लैक लिस्ट में डाल दिया। इसके बाद  ने कर्नाटक मिल्क फेडरेशन से घी खरीदना शुरू कर दिया।

पुराने सप्लायर से घी 320 रुपए प्रति किलोग्राम के रेट से खरीदा जाता था। अब तिरुपति ट्रस्ट कर्नाटक कोऑपरेटिव मिल्क फेडरेशन  से 475 रुपए प्रति किलोग्राम के रेट से घी खरीद रहा है।

घी की शुद्धता का परीक्षण करने वाली प्रयोगशाला  (आणंद, गुजरात) ने तिरुपति को घी की शुद्धता की जांच करने के लिए एक मशीन दान करने पर सहमति दी है। इसकी लागत 75 लाख रुपए है।

 जुलाई में सामने आई रिपोर्ट में लड्डुओं में चर्बी की पुष्टि हो गई थी। हालांकि, टीडीपी ने दो महीने बाद रिपोर्ट सार्वजनिक की। CM नायडू ने 18 सितंबर को आरोप लगाया था कि पूर्व जगन सरकार में तिरुपति मंदिर के लड्डू में इस्तेमाल होने वाले घी में जानवरों की चर्बी और फिश ऑयल मिलाया गया था।  ने एक लैब रिपोर्ट दिखाकर अपने आरोपों की पुष्टि का दावा भी किया।

नायडू ने कहा, जब बाजार में 500 रुपए किलो घी मिल रहा था, तब जगन सरकार ने 320 रु. किलो घी खरीदा। ऐसे में घी में सप्लायर की ओर से मिलावट होनी ही थी। जगन सरकार द्वारा कम दाम वाले घी को खरीदने की जांच हाेगी। पशु चर्बी वाले घी से बने लड्डुओं से तिरुपति मंदिर की पवित्रता पर दाग लगाया है।

तिरुपति मंदिर में करीब 200 ब्राह्मण 300 साल पुराने किचन में शुद्ध देसी घी से लड्डू बनाते हैं।
तिरुपति मंदिर में करीब 200 ब्राह्मण 300 साल पुराने किचन में शुद्ध देसी घी से लड्डू बनाते हैं।

तिरुपति मंदिर दुनिया के सबसे लोकप्रिय और अमीर धर्मस्थलों में से है। यहां हर दिन करीब 70 हजार श्रद्धालु भगवान वेंकटेश्वर स्वामी के दर्शन करते हैं। इसका प्रशासन तिरुपति तिरुमाला देवस्थानम  संभालता है।

मंदिर परिसर में बनी 300 साल पुराने किचन ‘पोटू’ में शुद्ध देसी घी के रोज 3.50 लाख लड्‌डू बनते हैं। यह मंदिर का मुख्य प्रसाद है, जिसे करीब 200 ब्राह्मण बनाते हैं।

लड्‌डू में शुद्ध बेसन, बूंदी, चीनी, काजू और शुद्ध घी होता है। ट्रस्ट ने करीब एक लाख लड्‌डू राम मंदिर में प्राण-प्रतिष्ठा के वक्त अयोध्या भेजे थे।

आंध्र प्रदेश के तिरुपति मंदिर के लड्डू प्रसादम की पवित्रता विवाद तूल पकड़ रहा है। अयोध्या पहुंचे डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने कहा- मैं भी भगवान रामलला और तिरुपति बालाजी का भक्त हूं। अगर किसी तीर्थस्थल पर ऐसी घटना होती है तो वहां की सरकार सख्त कार्रवाई करेगी। हम उत्तर प्रदेश में भी इसका ध्यान रखेंगे। अगर किसी ने ऐसा किया है तो यह गलत है, उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई होनी चाहिए।

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